उत्तराखंडदेहरादून

देहरादून पुलिस पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप

प्रवीण भारद्वाज ने पुलिस पर लगाए गंभीर आरोप
देहरादून। रविवार को  प्रेस क्लब में हुई एक पत्रकार वार्ता के दौरान मुकदमा संख्या 62/2023 मैं पुलिस द्वारा की जा रही कार्रवाई से असंतुष्ट लोगों ने देहरादून पुलिस पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए पत्रकार वार्ता आयोजित की और पुलिस अधिकारी वरिष्ठ उप: निरीक्षक सुमेर सिंह को तत्काल प्रभाव से निलंबित किए जाने की मांग की, पत्रकार वार्ता के दौरान प्रवीण भारद्वाज ने कहा कि, ” सुमेर सिंह ने आरोपियों का नाम मुक़दमे से हटाकर सिद्ध कर दिया कि पुलिस हमलावरों के साथ थी। पूनम नौटियाल ने 22-02-2023 को घटना करने के अगले दिन 23-02-2023 को सोसाइटी का गेट बंद करके कैमरे के सामने यह बोला था कि हमने कल उसका घर तोड़ा आपने जैसा कहा वैसी मैंने कार्यवाही की आप लोगो ने देखा था की पुलिस हमारे साथ थी प्रशासन हमारे साथ था और उस समय जितेंद्र सिंह चौहान एस.ओ. राजपुर एवं अन्य पुलिस अधिकारी भी पूनम नौटियाल के साथ खड़े थे जिसका प्रमाण मेरे पास वीडियो के रूप में उपलब्ध है। सुमेर सिंह वरिष्ठ उप: निरीक्षक द्वारा समक्ष अध्यक्ष ज़िला पुलिस शिकायत प्राधिकरण देहरादून को शपथ पत्र देते हुए क्र. संख्या 05 में पार्षद भूपेन्द्र कठैत, चुन्नीलाल (चुन्नीलाल), पार्षद कमल थापा, पूनम नौटियाल, पार्षद योगेश घाघट एवं रेखा राजपूत का विवेचना में शामिल होना नहीं पाया गया तथा इनका नाम विवेचना से पृथक किया गया यह शपथ पत्र देते हुए मुख्य आरोपियों को बचाया गया।केस डायरी से अपराधियों को बचाने के लिए सुमेर सिंह द्वारा सभी सबूतों को ग़ायब करके नष्ट कर दिया गया जैसे घटना के फोटो, घटना की पेन ड्राइव, मेडिकल रिपोर्ट, वीडियो की आधार पर आरोपियों की नामों की लिस्ट शुरुआत से ही मुक़दमे को भटकाने का प्रयास अधिकारियों द्वारा किया गया। मुकदमा संख्या 62/2023 में सुमेर सिंह वरिष्ठ उप: निरीक्षक द्वारा रेखा राजपूत को मुक़दमे से बचाते हुए यह लिखा गया कि रेखा राजपूत मौक़े पर मौजूद नहीं थी उसका नाम विवेचना से पृथक किया जाता है। वहीं दूसरी ओर सुमेर सिंह द्वारा शपथ पत्र में यह अंकित किया गया की 22-02-23 को रेखा राजपूत ने प्रवीण भारद्वाज के विरुद्ध मुक़दमा संख्या 59/2023 धारा 307/323/506 आईपीसी प्रवीण भारद्वाज के विरुद्ध पंजीकृत किया । अब प्रश्न यह उठता है कि सुमेर सिंह शपथ पत्र में क्र. 05 में रेखा राजपूत को बचाने की लिए यह लिख रहें है की रेखा राजपूत घटनास्थल पर मौजूद नहीं थी और शपथ पत्र में क्र. 07 में प्रवीण भारद्वाज के ऊपर झूठा मुकदमा दर्ज करने के लिए रेखा राजपूत की घटना स्थल पर मोजूदगी बता रहे है ।
सुमेर सिंह द्वारा कानून के साथ खिलवाड़ किया गया। ऐसे पुलिस अधिकारी जो कानून की धज्जियाँ उड़ाते हैं एवं अपने पद का दुरुपयोग करते हैं उनके विरुद्ध सख़्त क़ानूनी करवायी होनी चाहिए और तत्काल निलंबित किया जाना चाहिए।

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