देहरादून। भाजपा ने यूसीसी ड्राफ्ट सौपें जाने और विधानसभा सत्र में पेश करने की घोषणा का स्वागत किया है। प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने सीएम धामी का आभार व्यक्त करते हुए कहा, देवभूनिवासियों से किया एक और वादा पूरा करने का समय आ गया है। श्री भट्ट ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि समान नागरिक संहिता भाजपा की वैचारिक और सैद्धांतिक प्रतिबद्धता है। जनता को एक समान कानून व्यवस्था देना, मुख्यमंत्री श्री पुष्कर धामी के नेतृत्व में पार्टी का विधानसभा चुनाव के दौरान देवभूमि से किया वादा है। दो वर्ष की मैराथन बैठकों, सभी पक्षों, हितधारकों के सुझाव एवं मशवरे और कमेटी की अथक मेहनत के बाद आखिरकार वह दिन नजदीक है जब 2 फरवरी को ड्राफ्ट हमे मिलने वाला है। हम सबके लिए बेहद प्रसन्नता का विषय है कि सरकार इस पर गंभीरता से विचार कर विधानसभा में प्रस्तुत करने करेगी। हमारी मंशा स्पष्ट है कि ड्राफ्ट को सदन से पास कर शीघ्र अति शीघ्र राज्यपाल से इस पर संस्तुति कराई जाए। ताकि धार्मिक विषमता के आधार पर कानूनी भेदभाव की इस व्यवस्था समाप्त करने की शुरुआत देवभूमि से हो।
उन्होंने कहा कि यूसीसी प्रारंभ से ही मुख्यमंत्री और पार्टी की प्राथमिकता में रहा है। पिछले विधानसभा चुनाव-2022 में भी सीएम धामी ने जनसभाओं में घोषणा की थी कि जीत के बाद वे उत्तराखंड को यूसीसी सौंपेंगे। प्रचंड बहुमत के साथ सीएम धामी ने पहले ही दिन से यूसीसी को लाने की दिशा में प्रयास शुरू कर दिए थे। लेकिन कानून में किसी भी वर्ग, समुदाय विशेष के अधिकारों का हनन न हो, यह सुनिश्चित करने के लिए सीएम ने पूर्व न्यायधीश (रिटा.) रंजना देसाई की अक्ष्यक्षता विशेषज्ञ समिति गठित की थी। समिति ने प्रदेश ही नहीं, देशभर से सुझावों को लिया और प्रत्येक हितधारकों के साथ व्यापक विचार-विमर्श व परामर्श लेकर ड्राफ्ट को अंतिम रूप दिया गया है।
उन्होंने कहा, हम कठोरतम नकल कानून बनाकर युवाओं का भविष्य सुरक्षित करने वाला पहला राज्य बने हैं। हमने सख्त धर्मांतरण कानून लागू कर देवभूमि की सांस्कृतिक पहचान बदलने की साजिश करने वालों पर करारी चोट का आगाज किया है। लिहाजा बेहद प्रसन्नता और गर्व की बात है कि देश में उत्तराखंड को यूसीसी लागू करने वाला पहला राज्य बनने का हमारा भरोसा शीघ्र साकार होने वाला है।