
देहरादून I आज भारतीय शिक्षण मंडल के तत्वावधान में माधवी शंकर सरस्वती शिशु विद्या मंदिर निरंजनपुर के हाल में वेदव्यास पूजा पर चर्चा एवं व्याख्यान किया कार्यक्रम हुआ सर्वप्रथम भारतीय शिक्षा मंडल की युवा आयाम सह प्रमुख दो अनन्या गुप्ता ने शिक्षण मंडल का अध्याय वाकया सुनाया तथा भारतीय शिक्षा मंडल की कार्य योजना पर प्रकाश डालते हुए विस्तार पूर्वक बताया तत्पश्चात भारतीय शिक्षा मंडल उत्तराखंड प्रांत के कार्यालय प्रमुख स्वामी एस चंद्र ने भारतीय शिक्षण मंडल द्वारा आयोजित गुरु पूजन विषय पर प्रकाश डालते हुए महर्षि वेदव्यास जी के पूजन तथा गुरु शिष्य परंपरा पर अपने विचार प्रकट किया अपने उद्बोधन में स्वामी जी ने कहा माता-पिता गुरुदेव का सर्वप्रथम पूजनीय है जो प्रत्येक मनुष्य को अंधकार से उजाले की ओर ले चलते हैं एवं उनका मार्गदर्शन करते हैं इसलिए माता-पिता गुरुदेव का सर्वश्रेष्ठ सर्वश्रेष्ठ पूजनीय है साथ ही चरण स्पर्श की प्रक्रिया को भी विस्तार पूर्वक से समझाया छात्र-छात्राओं के साथ चर्चा करते हुए उनसे आगरा किया हमेशा गुरुओं का मान सम्मान करें शिक्षा तभी प्राप्त होगी, कार्यक्रम से पूर्व दीप प्रज्जवलित कर शुभारम्भ किया.
इसी क्रम में चुक्खूवाला स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय में कार्यक्रम संयोजक स्वामी एस. चंद्रा तथा मुख्यवक्ता डा. अनन्या गुप्ता ने छात्र-छात्राओं के साथ संवाद करते हुए उनको गुरु के महिमा का वर्णन कर समझाया और गुरु शिष्य परंपरा के बारे में बताया कि गुरुकुल में पहले कैसे शिक्षा ग्रहण की जाती थी और उसका मान सम्मान कितना रहता था परंतु आज के परिवेश में गुरुओं का मान घटता जा रहा है, यह चिंता का विषय है इसीलिए विद्या भी उसे प्रकार से नहीं मिल पाती,
इस अवसर पर प्रधानाध्य़ापिका ज्योत्सना नैथानी, अध्यापिका ममता रतूड़ी एवं भारतीय शिक्षा मंडल के सदस्य प्रवीण कुमार उपस्थित रहे.